Not known Facts About Shodashi
Wiki Article
The day is observed with fantastic reverence, as followers take a look at temples, offer you prayers, and engage in communal worship activities like darshans and jagratas.
नवयौवनशोभाढ्यां वन्दे त्रिपुरसुन्दरीम् ॥९॥
पञ्चबाणधनुर्बाणपाशाङ्कुशधरां शुभाम् ।
अष्टमूर्तिमयीं वन्दे देवीं त्रिपुरसुन्दरीम् ॥८॥
श्री-चक्रं शरणं व्रजामि सततं सर्वेष्ट-सिद्धि-प्रदम् ॥४॥
यह उपरोक्त कथा केवल एक कथा ही नहीं है, जीवन का श्रेष्ठतम सत्य है, क्योंकि जिस व्यक्ति पर षोडशी महात्रिपुर सुन्दरी की कृपा हो जाती है, जो व्यक्ति जीवन में पूर्ण सिद्धि प्राप्त करने में समर्थ हो जाता है, क्योंकि यह शक्ति शिव की शक्ति है, यह शक्ति इच्छा, ज्ञान, क्रिया — तीनों स्वरूपों को पूर्णत: प्रदान करने वाली है।
As a person progresses, the next stage includes stabilizing this newfound consciousness by means of disciplined methods that harness the head and senses, emphasizing the vital job of Strength (Shakti) With this transformative procedure.
लक्ष्या मूलत्रिकोणे गुरुवरकरुणालेशतः कामपीठे
हस्ते चिन्मुद्रिकाढ्या हतबहुदनुजा हस्तिकृत्तिप्रिया मे
श्रींमन्त्रार्थस्वरूपा श्रितजनदुरितध्वान्तहन्त्री शरण्या
अकचादिटतोन्नद्धपयशाक्षरवर्गिणीम् ।
कामाक्षीं check here कामितानां वितरणचतुरां चेतसा भावयामि ॥७॥
श्रीमद्-सद्-गुरु-पूज्य-पाद-करुणा-संवेद्य-तत्त्वात्मकं
यहां पढ़ें त्रिपुरसुन्दरी हृदय स्तोत्र संस्कृत में – tripura sundari hriday stotram